जंगल में कैंपिंग बनी भयानक सपना: रात भर हमारा पीछा करती रहीं खौफनाक आवाज़ें और बदबू


पिछले साल नवंबर के आसपास की बात है. मैं स्टेट में नया-नया आया था और मुझे इस इलाके के जंगल बहुत पसंद थे. जंगल में घूमने-फिरने के शौकीन मेरे कुछ दोस्त एक कैंपिंग ट्रिप के बारे में बात करने लगे. मैंने सोचा, क्यों नहीं? मुझे वैसे भी काम से थोड़ा ब्रेक चाहिए था. मेरे पास वीकेंड की छुट्टी थी, तो मैंने अपना बैग पैक किया और अपने दोस्त के घर चला गया. हमें उसके घर पर इकट्ठा होकर कैंपिंग के लिए आगे जाना था.

हम कनाडा की सीमा से लगभग पच्चीस-तीस मील दूर एक ऐसे जंगल में पहुँचे जो अंतहीन लग रहा था. मुझे वो जगह बहुत पसंद आई क्योंकि मेरे अपने राज्य में ऐसा कुछ नहीं था. हम कुल छह लोग और दो कुत्ते थे - एक लैब्राडोर और एक रॉटweiler. हर किसी के पास हंटिंग राइफल या शॉर्टगन थी, एक भी, लेकिन मेरे पास कोई हथियार नहीं था.

हमने अपनी गाड़ियाँ एक छोटी कच्ची सड़क पर पार्क की, जिसका इस्तेमाल गेम वार्डन या बॉर्डर पेट्रोल वाले करते थे. फिर हम लगभग चार मील जंगल में चले. जब तक हम वहाँ पहुँचे, अँधेरा होने लगा था. हमने तुरंत आग जलाने का फैसला किया ताकि अँधेरा होने से पहले रोशनी और गर्मी मिल जाए. हम में से दो लोग और एक कुत्ता लकड़ियाँ इकट्ठा करने गए.

बाकी चार लोग टेंट लगाने की तैयारी करने लगे. वो एक बड़ा टेंट था जिसमें छह से आठ लोग रह सकते थे. नवंबर में वहाँ बहुत ठंड थी, लेकिन टेंट लगभग पंद्रह मिनट में लग गया. लेकिन तब तक भी लकड़ियाँ लेने गए लोग वापस नहीं आए थे. हमने सोचा छोड़ो और आसपास की कुछ टहनियों से आग जला दी.

लेकिन फिर कुछ अजीब हुआ. अचानक हमें तेज़ आवाज़ें सुनाई दीं, जैसे कोई बहुत तेज़ी से भाग रहा हो. तभी हमारे वो दोनों दोस्त दौड़ते हुए आए. उनकी आँखें फटी हुई थीं, लेकिन कुत्ता उनके साथ नहीं था. उन्होंने घबराते हुए बताया कि उन्होंने जंगल में हमारे एक दोस्त को देखा जो बहुत अजीब व्यवहार कर रहा था. जब भी वो उसके पास जाने की कोशिश करते, वो दूर हो जाता.

उन्होंने बताया कि एक बार तो वो अचानक गायब हो गया और फिर उनके ठीक दस फीट पीछे एकदम से प्रकट हो गया. उन्होंने ये भी कहा कि वहाँ एक बहुत बुरी गंध आ रही थी, जैसे सड़ा हुआ मांस और खराब दूध मिलकर बदबू कर रहे हों. उन्होंने उससे पूछने की कोशिश की कि क्या बात है, लेकिन कोई जवाब नहीं मिला.

फिर अचानक वो उसैन बोल्ट की तरह तेज़ी से जंगल में दौड़ गया और हमारा कुत्ता भौंकते हुए उसके पीछे भागा. दोनों दोस्तों ने उसका पीछा किया, लेकिन जल्दी ही उन्हें खो दिया. इसके बाद वो बदबू भी कम होने लगी. फिर दूर से उन्हें एक अजीब सी चीख सुनाई दी और फिर कुत्ते की तेज़ आवाज़ जैसे वो दर्द में चिल्ला रहा हो.

इसके बाद वो बदबू फिर से तेज़ हो गयी और इस बार उन्हें कुछ पागलपन भरी हंसी जैसी आवाज़ सुनाई दी. वो डरकर वहाँ से भागे और कैंप में वापस आ गए. वो उस दोस्त पर बहुत गुस्सा होने लगे जो उन्हें जंगल में दिखा था, लेकिन हम जानते थे कि वो उस वक़्त हमारे ही साथ था और टेंट लगाने में हमारी मदद कर रहा था. इसलिए हमने उसका पक्ष लिया.

हमें लगा वो दोनों शायद कोई मज़ाक कर रहे हैं, इसलिए हमने कहा कि मज़ाक बंद करो और ये बताओ कि कुत्ता कहाँ है? उन्होंने हमें समझाया कि वो बिलकुल सच बोल रहे हैं और उन्हें कुत्ते के बारे में और कुछ नहीं पता. हम सबको ये बात बहुत अजीब लगी और हमें उस कुत्ते की भी चिंता होने लगी थी. उस वक़्त तक सूरज पूरी तरह डूब रहा था.

तो हमने आग को और बड़ा किया और कुछ कोलमैन लालटेनें निकालीं. हम सब आग के आसपास बैठ गए और अपनी रेडी-टू-ईट खाना खाने लगे. हमने अपनी बंदूकें अपने पास ही रख ली थीं. अँधेरा होने के पंद्रह मिनट बाद, दूसरा कुत्ता, रॉटweiler जो हमारे साथ था, अचानक सतर्क हो गया और बहुत आक्रामक तरीके से गुर्राने लगा.

तभी वो बदबू जो हमारे दोस्तों ने बताई थी, अब हमें भी आने लगी थी. फिर एक अजीब सी कराहने की आवाज़ शुरू हुई और कैंप के आसपास टहनियों और पत्तों के टूटने की आवाज़ें आने लगीं. डर बढ़ता जा रहा था और कुत्ता पागलों की तरह भौंक रहा था. तभी ग्रेग, जिसके पास शॉर्टगन थी, वो खड़ा हुआ और उसने जंगल में अँधेरे में तीन राउंड दाग दिए.

जंगल से एक भयानक चीख निकली और वो आवाज़ तेज़ी से हमसे दूर होती गई. बदबू भी कम होने लगी थी. हमने लगभग एक घंटा इंतजार किया. फिर सोने की कोशिश की, लेकिन हम लोग इतना डर गए थे कि हमने फैसला किया कि हर वक़्त दो लोग पहरा देंगे. पहला पहरा मेरा और विक्टर का था. कुत्ता भी आग के पास आराम से लेट गया था.

दो घंटों तक कुछ नहीं हुआ, तो हमने ग्रेग और डोम को जगाया जिनकी पहरा देने की दूसरी बारी थी. थोड़ी देर सोने के बाद मैं उस बदबू से जाग गया. बाहर से ग्रेग के चिल्लाने की आवाज़ आ रही थी. हम उठे और बाहर गए. ग्रेग स्पॉटलाइट लेकर जंगल के किनारे देख रहा था और डोम का नाम पुकार रहा था. मैंने पूछा, क्या हुआ?

उसने बताया कि वो दोनों बैठे थे तभी उन्हें जंगल से हमारे एक दोस्त की आवाज़ सुनाई दी. कुत्ता गुर्राता हुआ उसकी तरफ दौड़ा और डोम भी उसके पीछे भागा. कुत्ता कुछ झाड़ियों से गुज़रा और डोम उसे खो बैठा. फिर डोम भी उसे ढूंढने के लिए जंगल में चला गया. ग्रेग उसे पुकार रहा था तभी उसने डोम को कुछ कहते हुए सुना, लेकिन फिर उसकी आवाज़ अचानक बंद हो गयी.

हम उसे अकेले नहीं छोड़ सकते थे, तो हमने अपने कपड़े पहने. हर एक ने फ्लैशलाइट या स्पॉटलाइट ली, बंदूकें उठाईं और हम जंगल में निकल गए. उस वक़्त वो बदबू हर जगह थी और हम में से ज़्यादातर को उलटी जैसा महसूस हो रहा था, लेकिन हम डोम को ढूंढने के लिए आगे बढ़ते रहे. हमें उसके पैरों के निशान मिले, लेकिन वो निशान अचानक रुक गए. कोई और निशान नहीं दिखे, ना आगे, ना पीछे.

फिर हम में से एक जो पीछे था, अपनी लाइट इधर-उधर घुमा रहा था. अचानक वो रुक गया और फिर उसने एक अजीब सी आवाज़ निकाली और चिल्लाया, "अबे कमीने! हम तेरे लिए कितना परेशान थे!" हम सबने उसी तरफ देखा जहाँ वो देख रहा था. वहाँ डोम खड़ा था, लगभग बीस फीट दूर, लेकिन वो बहुत गलत तरीके से खड़ा था.

"डोम, तू ठीक है ना दोस्त? कोई मदद चाहिए क्या तुझे?" उसने बस खामोश रहकर धीरे-धीरे हाँ में सर हिलाया. हम में से कुछ लोग उसके पास गए और उसके कंधों पर हाथ रखकर उसे सहारा दिया. हमने देखा कि उसमें से बहुत गंदी बदबू आ रही थी और अभी तो जंगल में एक दिन भी पूरा नहीं हुआ था. हम उस बात पर हँसने लगे, लेकिन वो नहीं हँसा.

हमें लगा कि शायद वो गिर गया होगा या उसे कहीं चोट लगी होगी, इसलिए वो इतना शांत है. कैंप में वापस जाकर हमने उसे लेटने को कहा, लेकिन उसने मना कर दिया. तो हमने उसे आग के पास बाहर ही रहने दिया. ग्रेग, विक्टर और मैंने फैसला किया कि हम जागकर उस पर नज़र रखेंगे. वो कभी-कभी अजीब सी झटके वाली हरकतें करता था, जैसे उसकी मांसपेशियों में ऐंठन हो गयी हो. वो सब बहुत डरावना लग रहा था.

हमें लगा कि शायद ये कोई गंभीर बात है. वो ज़्यादातर चुप था और किसी भी बात का जवाब धीरे-धीरे देता था, सिवाय खाने के. जब हमने उसे कुछ खाने को दिया, तो उसने बहुत अजीब तरीके से वो खाया. लेकिन हमने उसे नज़रअंदाज़ कर दिया. फिर वो उठा और बहुत झटके लेते हुए जंगल की तरफ देखने लगा. उसने हमसे पूछा कि क्या हम उसके साथ लकड़ियाँ लेने जंगल में चलेंगे?

यह बात बहुत अजीब थी क्योंकि बाहर पिच ब्लैक अँधेरा था और हमारे पास पहले से ही लकड़ियों का ढेर था. फिर उसने अपने गंदे कपड़ों में और अजीब तरह से लड़खड़ाते हुए जंगल में चला गया. उस वक़्त हम समझ चुके थे कि कुछ तो गड़बड़ है और हमने उसे रोकने की कोशिश नहीं की. कुछ मिनट बाद, ग्रेग टेंट में कुछ लेने गया. मैं और विक्टर बाहर थे.

तभी वो बदबू फिर से इतनी तेज़ आई कि मुझे उलटी आने लगी. फिर मुझे कुछ गुदगुदाने और हँसने की आवाज़ सुनाई दी. मैं अपनी ज़िंदगी में कभी इतना नहीं डरा था और विक्टर भी वैसा ही महसूस कर रहा था. तभी ग्रेग बाहर आया और उसने भी वो आवाज़ साफ-साफ सुनी. वो वापस टेंट में गया और बाकी लोगों को जगाने लगा.

जब सब उठे, ग्रेग ने सबको गिना और उसका चेहरा सफेद पड़ गया. उसने बताया कि जब वो अंदर था, उसने जल्दी से गिनती की थी और टेंट में चार लोग थे. इसका मतलब था कोई या कुछ हमारे टेंट में बिना हमें पता चले घुस आया था. हम सब पूरी तरह से डर गए. सब पूछने लगे कि डोम कहाँ है?

तभी वो बुदबुदाहट और तेज़ हो गयी और जंगल से कुछ अजीब सी आवाज़ें आने लगीं. फिर हमें डोम की आवाज़ सुनाई दी जो जंगल से हमें मदद के लिए बुला रही थी, लेकिन उसकी आवाज़ अजीब थी और बीच-बीच में वो हँस रहा था. हमने आग को और बड़ा किया, सारी लालटेनें पूरी तरह जला दीं और बंदूकें हाथ में लेकर सूरज निकलने का इंतज़ार करने लगे.

जैसे ही सुबह की रोशनी दिखी, हमने आग बुझाई, अपना सामान पैक किया और गाड़ियों की तरफ चल पड़े. वो हँसी और बदबू फिर से शुरू हो गयी, लेकिन हम सब रुके नहीं और वहाँ से निकल गए. गाड़ियों तक पहुँचे तो हमने देखा उन पर खरोंचों के निशान थे, ज़्यादातर शीशे टूटे हुए थे और सीटें फट चुकी थीं. हमें बस गाड़ियों को चलाना था.

तो हमने चाबी डाली और इंजन की आवाज़ सुनकर राहत महसूस की. हमने अपना सामान रखा, गाड़ी में बैठे और वहाँ से भाग निकले. हमने महीनों तक इस बारे में बात नहीं की और ज़्यादातर ने तो माना ही नहीं कि ऐसा कुछ हुआ था. बाद में हमारे एक दोस्त ने बताया कि जब हम जा रहे थे, उसने डोम को जंगल के किनारे हमें घूरते हुए देखा था और उसके चेहरे पर एक बहुत डरावनी मुस्कान थी.

मैं उसकी बात पर यकीन करता हूँ क्योंकि आज तक हमें डोम कहीं नहीं मिला. आज भी उसके बारे में कहा जाता है कि वो जंगल में कहीं खो गया है और शायद किसी दिन अपने आप वापस आ जाएगा. लेकिन मैं जानता हूँ, वो वापस नहीं आने वाला. मैंने ठान लिया है कि मैं अब इतनी दूर कैंपिंग करने कभी नहीं जाऊँगा. लेकिन वो क्या था जो हमारे साथ ऐसा खेल खेल रहा था? आपका तो पता नहीं, पर मुझे लगता है कि हमारा सामना स्किन वॉकर से हुआ था.

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